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मध्य प्रदेश में मौसम का मिजाज एक बार फिर बदल रहा है। बंगाल की खाड़ी से उठे मिधिली तूफान और उत्तर भारत में बन रहे पश्चिमी विक्षोभ के चलते वर्षा के आसार हैं। प्रदेश के कई क्षेत्रों में 26-27 नवंबर को हल्की वर्षा हो सकती है। राजधानी भोपाल समेत कई जिलों में दो दिनों तक बादल छाए रहेंगे। इसके बाद नवंबर अंत से तापमान में तेजी से गिरावट आएगी और तेज सर्दी शुरू हो जाएगी।
वैसे प्रदेश के अधिकांश इलाकों में तापमान गिरने से सुबह और रात में ठंड का अहसास होने लगा है। धार, गुना, नर्मदापुरम, खंडवा, खरगोन, रतलाम, उज्जैन, नरसिंहपुर जैसे 20 जिले ऐसे हैं, जहां सोमवार को भी तामपान 30 डिग्री सेल्सियस से अधिक दर्ज किया गया।
मौसम विज्ञानी डा. वेद प्रकाश सिंह ने बताया कि बंगाल की खाड़ी में तूफान मिधिली उठा है। इसके साथ ही 24-25 नवंबर को उत्तर भारत में एक और पश्चिमी विक्षोभ पहुंच रहा है।
इसके चलते अभी आने वाले एक हफ्ते तक तेज ठंड की संभावना नहीं है। 26 या 27 नवंबर को कुछ हिस्सों में हल्की वर्षा हो सकती है। खासकर पश्चिमी हिस्से में वर्षा होने के आसार हैं।
नवंबर में रहा है वर्षा का ट्रेंड
नवंबर माह में हमेशा ही वर्षा का ट्रेंड रहा है। वर्ष 1936 में सर्वाधिक 134.1 मिमी बारिश दर्ज की गई थी। 24 घंटे में सर्वाधिक वर्षा का रिकार्ड 10 नवंबर 1969 में 76.4 मिमी का है।
बैतूल दिन में, पचमढ़ी रात में सबसे ठंडा
बैतूल दिन में, पचमढ़ी रात में सबसे ठंडा
प्रदेश में सबसे ठंडे जिलों की बात की जाए तो बैतूल में दिन का तापमान 27.7 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया, जबकि रात में पचमढ़ी सबसे ठंडा रहा। यहां तापमान 11.4 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया। इसके साथ ही राजगढ़ में पारा 13.6 डिग्री, दतिया में 13 डिग्री, ग्वालियर में 13.8 डिग्री सेल्सियस रहा।