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दंतेवाड़ा, 27 जुलाई 2023।प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि कार्यक्रम का सीधा प्रसारण आज कृषि विज्ञान केन्द्र, दन्तेवाड़ा के दण्डकारण्य सभागार में किया गया। कार्यक्रम अंतर्गत 14 वीं किस्त की राशि का किसानों के खाते में हस्तांतरण किया गया ।
वर्चुअल कार्यक्रम में मान. प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी, के द्वारा सीकर, राजस्थान से कार्यक्रम के सीधा प्रसारण में उन्होने आज 8.5 करोड़ से अधिक किसानों के खाते में 17.500 करोड़ की अधिक की राशि का हस्तांतरण सीधा किसानों के खाते में किया गया। साथ ही एक लाख पच्चीस हजार प्रधानमंत्री किसान समृद्धि केन्द्र एवं यूरिया गोल्ड सल्फर कोटेड यूरिया का शुभारंभ किया गया। मान. केन्द्रीय कृषि मंत्री, श्री नरेन्द्र सिंह तोमर, भारत सरकार ने अपने उद्बोधन में किसानों को प्रधानमंत्री सम्मान निधि योजना के बारे में बताते हुए कहा कि केंद्र सरकार के द्वारा किसानों को सालाना आय में छः हजार रुपये की राशि जमा करने हेतु इस योजना का संचालन किया जा रहा है। ताकि किसान इस अतिरिक्त आय को अपने कृषि संबंधी कार्यों में होने वाले खर्चों में इस राशि का उपयोग कर सकें। जिले से इस कार्यक्रम में मुख्य अतिथि श्री चैतराम अटामी, अन्य जनप्रतिनिधि गण, दंतेवाड़ा के 156 किसान सहित अन्य अधिकारी कर्मचारी उपस्थित रहें।
सीधा प्रसारण कार्यक्रम के पश्चात मुख्य अतिथि श्री अटामी ने दंतेवाड़ा के किसानों को सम्बोधित करते हुए कहा कि किसानों को आगे बढ़ाने एवं सक्षम करने के लिये सरकार के द्वारा विभिन्न योजनाओं का लाभ, सरकारी विभागों के द्वारा किया जा रहा है। चूंकि कृषि विज्ञान केन्द्र भारत सरकार का उपक्रम है इसलिये उन्होने किसानों से आग्रह किया कि के.वी.के. एवं कृषि विभाग में बीज वितरण कार्यक्रम अंतर्गत मिलने वाले विभिन्न प्रकार के बीज जैसे कोदो, कुटकी, रागी एवं अन्य दलहन तथा तिलहन फसलों के बीजों का अधिक से अधिक लगाये तथा बीज उत्पादन कर लाभ कमायें। कार्यक्रम में प्राकृतिक खेती के विभिन्न आयामों के बारे में विस्तारपूर्वक जानकारी किसानों को प्रदान की गई।
तत्पश्चात केंद्र के वरिष्ठ वैज्ञानिक एवं प्रमुख श्री डिप्रोशन बंजारा ने कहा कि कृषि विज्ञान केन्द्र सदैव किसानों के लिए तत्पर है। भारत में अभी तक 731 कृषि विज्ञान केन्द्र संचालित हो रहे है तथा उन्होने बताया कि अभी खरीफ मौसम में होने वाले बीजों के बोआई से पहले बीज उपचार किया जाये ताकि फसलों को विभिन्न अवस्थाओं में होने वाले कीट एवं रोग के संक्रमण से बचाया जा सके। उसके पश्चात श्री आर.एस. नेताम, वरिष्ठ कृषि विकास अधिकारी, गीदम के द्वारा बताया गया कि जिले में खण्ड वर्षा हो रही है जो कि किसानों के लिये चिंता का विषय है साथ ही उन्होंने कहा कि फसल बीमा योजना में पंजीयन की अंतिम तिथि 31 जुलाई से बढ़ाकर 15 अगस्त तक बढा दी गई है। जिसमें जिले के किसान को फसल बीमा योजना तहत असिंचित धान के लिये 880 रुपये प्रति हेक्टेयर प्रीमियम राशि जमा कर बीमा कराने हेतु प्रोत्साहित करना है, फसल नुकसान की स्थिति में चौवालीस हजार रुपये प्रति हेक्टेयर किसानों को दी जायेगी। किसान अधिकतम 10 हेक्टेयर का बीमा करवा सकते है। बीमा कराने हेतु किसानों को आधार कार्ड, बैंक पासबुक एवं नक्शा खसरा बी-1 की छायाप्रति जमा करना आवश्यक है।