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बेमेतरा 28 अगस्त 2023 : बेमेतरा जिले के विकासखंड बेरला के ग्राम सोंढ़ गोठान अंतर्गत माता मावली मॉ स्व. सहायता समूह ने गोधन न्याय योजना के जरिए वर्मी कम्पोस्ट व सुपर कम्पोस्ट उत्पादन व विभिन्न गतिविधियों के माध्यम से अब तक तक रुपये 5 लाख 95 हजार 157 की आमदनी की। समूह के सदस्यों ने बताया की वें अब तक कुल 146730 किग्रा वर्मी कम्पोस्ट खाद का तथा 24970 किग्रा सुपर कम्पोस्ट खाद का उत्पादन कर चुके हैं। उन्होंने बताया की जिला प्रशासन द्वारा वर्मी कम्पोस्ट उत्पादन एवं खेती बाड़ी आदि का प्रशिक्षण भी दिलाया गया था। उन्होने यह भी बताया कि उनकी समूह में महिला सदस्य हैं जो अपनी घरेलू काम-काज निपटाकर गौठान में वर्मी कम्पोस्ट के साथ ही स्थानीय बाजारु मांग अनुसार विभिन्न घरेलू रसोई में उपयोग किए जाने वाले मशाले आदि भी बनाते हैं। इससे समूह की महिलाओं को अतिरिक्त आमदनी हो जाती है। महिला समूह की सदस्यों ने बताया कि गोधन न्याय योजना मे जुडने के बाद हमारी आर्थिक स्थिति में काफी ज्यादा सुधार आया है पहले हमारे पास आय का सिर्फ एक ही साधन था लेकिन अब गोधन न्याय योजना के आने से हमारे पास अतिरिक्त आय का साधन प्राप्त करने का जरिया मिला हैं । इसके साथ ग्रामीण महिलाएं अपने बल पर अतिरिक्त आय प्राप्त कर पारिवारिक आर्थिक स्थिति को और बेहतर कर रही है। आज कि स्थिति में ग्रामीण स्तर पर शासन की हर भावी योजनाओं के बारे में जानकारी प्राप्त कर उनके प्रति कार्य करने एवं अपनी बातों को ग्रामीण जनसमुदाय में स्पष्ट रूप से रख पाने में सक्षम हो गयी है। ये सिर्फ गोधन न्याय योजना में जुड़ने से उनकी मनोबल बढ़ने के साथ सशक्त भी हुई है।
महिला समूह के सदस्यो ने बताया की हमारे गौठान से उत्पादित वर्मी कम्पोस्ट एवं सुपर कम्पोस्ट का उपयोग कृषि विभाग के कई योजनाओं जैसे फसल प्रदर्शन में किया जा रहा है एवं सहकारी समिति के माध्यम से क्षेत्र के अन्य किसानों को इसका वितरण एवं विक्रय किया जा रहा है। जिससे कृषक इसके महत्व को समझ रहे हैं साथ ही जैविक खेती की ओर अग्रसर हो रहे है। महिला कृषक समूह के माध्यम से भविष्य में हर तरह की नई तकनीकी का उपयोग कर जैविक खेती को बढावा देने हेतु सभी तरह के प्रयास किए जा रहे है। जिसमें वर्मी कम्पोस्ट बनाने एवं उसका उपयोग हेतु अन्य कृषकों को भी प्रोत्साहित किया जा रहा है।
समूह की महिलाएं बताती हैं की गोधन न्याय योजना छत्तीसगढ़ राज्य के गौपालकों, ग्रामीणों और किसानों के लिए एक महत्वपूर्ण और उत्साहजनक योजना है। यह योजना राज्य सरकार द्वारा शुरू की गई है। इसका मुख्य उद्देश्य है ग्रामीण क्षेत्रों में जीवनस्तर को सुधारने, गौपालकों, ग्रामीणों और किसानों को समृद्धि प्राप्त करने और ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूत बनाने के लिए धरोहर (गोधन) के उपयोग को प्रोत्साहित करना है।