नदी-नालों के पुनर्जीवन से बदलने लगी लोगों की तकदीर…

www.khabarwala.news

schedule
2022-11-18 | 08:21h
update
2022-11-18 | 08:21h
person
khabarwala.news
domain
khabarwala.news
नदी-नालों के पुनर्जीवन से बदलने लगी लोगों की तकदीर…

raipur@khabarwala.news

रायपुर, 18 नवम्बर 2022: जल संरक्षण का व्यापक स्तर पर फायदा पर्यावरण, जैवविविधता के साथ किसानों और आम नागरिकों को मिल सकता है। इसी सोच के साथ राज्य सरकार ने प्रदेश में नरवा संरक्षण की पहल की। नई सरकार बनने के साथ आई महत्वाकांक्षी नरवा विकास योजना आज अपनी सार्थकता साबित कर रही है। नदी, नालों के पुनर्जीवन से जहां जल संरक्षण और भू-जल स्तर में वृद्धि हुई है, वहीं नरवा में बने जल संरक्षण संरचनाओं से किसानों की सिंचाई सुविधा में बढ़ोत्तरी हुई है। प्रदेश के सुदूर दक्षिण कोण्डागांव वनमंडल द्वारा बोटी कनेरा उप परिक्षेत्र में किये गये चियोर बहार नरवा विकास कार्य ने क्षेत्र के किसानों की खुशहाली और समृद्धि के द्वार खोल दिये हैं।

Advertisement

कैम्पा मद की वार्षिक कार्ययोजना 2021-22 के तहत वनाच्छादित क्षेत्र से निकलने वाले चियोर बहार नाला में नरवा उपचार किया गया है। इसमें वन प्रबन्धन समिति के माध्यम से काकड़गांव के ग्रामीणों ने भी सक्रिय सहभागिता की। नाले के पुनर्जीवन के लिए किए गए योजनाबद्ध कार्यों का लाभ गांव के किसानों को मिला और उन्होंने सिंचाई सुविधा के विस्तार का लाभ लेकर अपनी तकदीर बदल दी।

किसान सोमीराम नरवा में बनाए जल संरक्षण संरचना के पास स्थित अपने 2 हेक्टेयर कृषि भूमि पर अब खरीफ में उड़द और रबी में मक्का सहित साग-सब्जी की पैदावार ले रहे हैं। सोमीराम सिंचाई साधन सुलभ होने से खुश होकर बताते हैं कि पहले वे ख्ेाती के लिए बारिश पर निर्भर थे और केवल मक्का की खेती कर पाते थे। लेकिन नरवा से सिंचाई सुविधा मिलने से अब उन्होंने अपने खेत में 3 हार्सपॉवर का विद्युत पंप लगवा लिया है। सिंचाई सुविधा बढ़ने से वे रबी फसल में मक्का के अतिरिक्त भिन्डी, बैंगन, कद्दू, ग्वारफल्ली जैसी साग-सब्जी भी लगा रहे हैं। इससे उनकी आय बढ़ी है और वे क्षेत्र के अन्य किसानों के लिए प्रेरणा स्त्रोत बन गये हैं। अब गांव के किसान महेश और फगनू के साथ ही करीब 10 किसानों द्वारा रबी में मक्का एवं सब्जी की खेती की जा रही है। वहीं नरवा में बनी जल संरचनाओं में वन प्रबन्धन समिति द्वारा ग्रामीणों के सहयोग से मछलीपालन भी शुरू किया गया है ग्रामीणों को अतिरिक्त आय का जरिया मिल गया है। वन प्रबन्धन समिति काकड़गांव के अध्यक्ष श्री विजय नाग ने बताया कि चियोर बहार नरवा विकास कार्यों ने क्षेत्र में हरियाली के साथ किसानों और ग्रामीणों के जीवन में भी खुशहाली ला दी है।

डीएफओ श्री आरके जांगड़े ने बताया कि चियोर बहार नाला-2 में 2 करोड़ 45 लाख रूपए की लागत से कुल 40,919 जलसंरक्षण और जल संवर्धन संरचनाओं का निर्माण कराया गया है। इससे नाले के 7 किलोमीटर परिधि क्षेत्र में 1100 हेक्टयर जल संग्रहण क्षेत्रफल को मद्देनजर रखते हुए 298 लूज बोल्डर चेकडेम, 143 ब्रशवुड चेकडेम, 11 गेैबियन संरचना, 35680 कन्टूर ट्रैंच के साथ ही 9 डाइक, तालाब गहरीकरण, परकोलेशन टैंक निर्मित किए गये हैं। जिससे नाले में निर्मित जल संरक्षण संरचनाओं में उपलब्ध पानी का उपयोग सिंचाई के लिए किया जा रहा है। इसके साथ ही इस नाले में निर्मित 15 मीटर लम्बी एवं 60 मीटर ऊंची कांक्रीट डाईक में लगभग 1800 क्यूबिक मीटर जल संग्रहित है।

Advertisement

Imprint
Responsible for the content:
khabarwala.news
Privacy & Terms of Use:
khabarwala.news
Mobile website via:
WordPress AMP Plugin
Last AMPHTML update:
27.08.2024 - 21:17:52
Privacy-Data & cookie usage: