झिझक हुई दूर,पिता के सहयोग से सामान्य जीवन जी रहा ‘राजू’…

www.khabarwala.news

schedule
2022-10-11 | 13:17h
update
2022-10-11 | 13:20h
person
khabarwala.news
domain
khabarwala.news
झिझक हुई दूर,पिता के सहयोग से सामान्य जीवन जी रहा ‘राजू’…

raipur@khabarwala.news

– शारीरिक स्वास्थ्य ही नहीं बल्कि मानसिक स्वास्थ्य के प्रति भी रहें सजग

सरगुजा 11 अक्टूबर 2022, शारीरिक स्वास्थ्य के समान ही मानसिक स्वास्थ्य के प्रति भी सजग रहना जरूरी है। मानसिक समस्याओं से ग्रसित मरीजों के परिजन या अभिभावक जागरूक होकर मानसिक रूप से अस्वस्थ मरीजों से सकारात्मक व्यवहार करें तो उनकी मानसिक समस्याएं धीरे- धीरे दूर हो जाती हैं। मानसिक समस्याओं से जूझ रहा मरीज स्वस्थ्य होकर सामान्य जीवन जीने लगता है।ऐसा ही कुछ सुरजपुर निवासी 21 वर्षीय छात्र राजू कश्यप ( परिवर्तित नाम) के साथ भी हुआ है।

राजू के परिजनों ने भी उसके असामान्य व्यवहार एवं उसकी मानसिक समस्या को समझा और उसके समाधान के लिए मनोचिकित्सकों से संपर्क किया। दो-तीन माह इलाज कराने के बाद ही ‘राजू’ के व्यवहार में परिवर्तन आया, उसकी झिझक खत्म हुई। अब वह सामान्य जीवन जी रहा है और अपनी पढ़ाई भी करने लगा है।

Advertisement

इस संबंध में क्लीनिकल साइकोलोजिस्ट, सुरगुजा डॉ. सुमन कुमार ने बताया: “विगत तीन-चार माह पूर्व ही मेडिकल कॉलेज सरगुजा द्वारा ‘राजू’ का केस मेरे पास रेफर किया गया। 21 वर्षीय राजू को लेकर जब उसके माता-पिता मेरे पास पहुंचे तो राजू किसी भी बात का जवाब नहीं देता था। वह डरा-सहमा सा रहता था। उसे फोबिया डाग्नोसिस कर मेरे पास भेजा गया था। इसलिए शुरूआत में मुझे परेशानी हुई क्योंकि राजू को किसी तरह की मेडिसीन नहीं दी गई थी और उसे मेरे पास रेफर कर दिया गया था। मेरे सामने राजू को स्वस्थ करने की बड़ी चुनौती थी। तब मैंने उसके अभिभावकों को पहले उसकी स्थिति के बारे में बताया। साथ ही सकारात्मक व्यवहार राजू से करने और कई तरह से उन्हें तरीके भी बताए। जिसपर उसके अभिभावकों ने अमल किया। इस दौरान राजू को मनोवैज्ञानिक तकनीक, काउंसिलिंग और कुछ मनोवैज्ञानिक थेरेपी मैंने दी जिससे उसके व्यवहार में परिवर्तन आया। अब वह घर से बाहर निकलने, लोगों से मिलने, दुकान या कॉलेज जाने में झिझकता नहीं है। वह सामान्य व्यवहार करने लगा है और पढ़ाई भी कर रहा है।“

डॉ. सुमन ने आगे बताया:“ शारीरिक स्वास्थ्य के समान ही मानसिक स्वास्थ्य के प्रति भी लोगों में जागरूकता की जरूरत है। व्यक्ति को किसी तरह की मानसिक दिक्कत होती है तो उसे नजर अंदाज करने की बजाए उन्हें उसके उपचार के बारे में सोंचना चाहिए। मानसिक स्वास्थ्य समस्याओं को भी लोग गंभीरता से लें और उसके प्रति सजग और सतर्क रहें। इतना ही नहीं अपने घर या आस-पास ऐसे लोग जो मानसिक रूप से कमजोर हैं उनको पहचानें। ऐसे लोगों को उचित उपचार हेतु नजदीकी स्वास्थ्य केंद्र जाने की सलाह दें क्योंकि स्वास्थ्य केन्द्रों में मानसिक समस्याओं का उपचार भी निःशुल्क होता है।“

छोटा सा परामर्श और पिता का मिला भरपूर सहयोग- राजू की मानसिक समस्याओं के उपचार के लिए कई प्रकार की मनोवैज्ञानिक तकनीक अपनाई गई। परिवारवालों के सहयोग से इस तकनीक द्वारा राजू के सोशल फोबिया नामक मानसिक समस्या का निदान किया गया। इस दौरान मनोविशेषज्ञ द्वारा कुछ निर्देश राजू के अभिभावकों को दिए गए। राजू के पिता ने उन निर्देशों का पालन पूरी तरह से किया। जैसे घर से बाहर निकलने के लिए दुकान से सामान लाना, सब्जी लाना या अन्य छोटे कार्य को जरूरी बताकर राजू से ही करवाया जाना आदि l इस तरह राजू के पिता द्वारा विशेषज्ञों के परामर्श का पालन करने और उस मुताबिक व्यवहार करने से राजू की मनःस्थिति धीरे-धीरे सामान्य हो गई।

इन बातों का रखें विशेष ध्यान- हमेशा स्वयं और दूसरों के प्रति सकारात्मक विचार रखे, मानसिक समस्या होने पर घबराएं नहीं फौरन ही मनोचिकित्सकीय परामर्श लें। लोगों का आभार और धन्यवाद व्यक्त करें, हमेशा खुश रहने की कोशिश करें, नकारात्मकता से दूर रहें, अच्छी और पर्याप्त नींद ले, मोबाइल-टीवी, लैपटॉप या अन्य किसी भी प्रकार के स्क्रीन पर अधिक समय नहीं बिताएं, नियमित योग और व्यायाम करें, मधुर संगीत सुनें, मनचाहा कार्य या रूचीकर कार्य करें, किताब पढ़ें, नशा का सेवन नहीं करें तथा पौष्टिक आहार लें।

Advertisement

Imprint
Responsible for the content:
khabarwala.news
Privacy & Terms of Use:
khabarwala.news
Mobile website via:
WordPress AMP Plugin
Last AMPHTML update:
26.10.2024 - 14:55:53
Privacy-Data & cookie usage: