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“कार्डियोवैस्कुलरहेल्थ फॉर एवरीवन” थीम पर 29 सितंबर को मनाया जाएगा विश्व हृदय दिवस
‘स्वस्थ जीवन शैली’ अपनाने पर दिया जाएगा जोर
-‘लाल रिबन’ लगाकर स्ट्रोक दिवस भी मनाएंगे स्वास्थ्य कर्मी
बिलासपुर, 23 सितंबर 2022. तम्बाकू सेवन, अस्वस्थ आहार, शारीरिक निष्क्रियता और शराब के सेवन से हृदय रोग होने का खतरा बढ़ जाता है जबकि इन मुख्य कारकों पर नियंत्रण किया जाए तो 80 प्रतिशत हृदय रोग संबंधी मृत्यु दर को कम किया जा सकता है। इस दिशा में जन-जागरुकता के लिए हर वर्ष की तरह इस वर्ष भी 29 सितंबर को ‘विश्व हृदय दिवस’ मनाया जाएगा। इस अवसर पर हृदय से संबंधित बीमारियों की रोकथाम के लिए ‘स्वस्थ जीवन शैली’ अपनाने पर जोर दिया जाएगा।
हृदय स्वास्थ्य संबंधी जागरूकता लाने के लिए 29 सितंबर को विश्व हृदय दिवस पर इस वर्ष ‘कार्डियोवैस्कुलर हेल्थ फॉर एवरीवन’ थीम पर विभिन्न प्रेरक कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे। इस संबंध में उप संचालक (एनपीसीडीसीएस) संचालनालय स्वास्थ्य सेवाएं, छत्तीसगढ़ के द्वारा पत्र जारी कर दिशा-निर्देश दिए गए हैं। पत्र में यह भी कहा गया है कि भारत में हृदय संबंधित रोगों से लगभग 28.1 प्रतिशत लोगों की मृत्यु प्रतिवर्ष हो रही है, जो गंभीर विषय है, ऐसे में हृदय रोगों की रोकथाम के लिए जागरुकता कार्यक्रम काफी अहम और कारगर हैं।
विश्व हृदय दिवस कार्यक्रम के लिए राज्य एनसीडी सेल द्वारा समस्त मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारियों को निर्देशित किया गया है कि कोविड-19 के समस्त दिशा-निर्देशों का पालन करते हुए 25 से 30 सितंबर तक जिला एवं ब्लॉक स्तर पर हृदय स्वास्थ्य संबंधी जागरुकता कार्यक्रम आयोजित किए जाएं। जागरुकता कार्यक्रम के अंतर्गत अस्पताल, स्कूल-कालेज आदि में हृदय रोग के प्रति जागरुकता से संबंधित होर्डिग एवं बैनर्स लगाने के लिए कहा गया है। इसी तरह सार्वजनिक जागरूकता हेतु रेलवे स्टेशन, बस स्टॉप व सिनेमा घर जैसे स्थानों पर ब्रोसर एवं पैम्पलेट वितरण किया जाएगा। गीत और नाटक स्पर्धा जैसे सांस्कृतिक कार्यक्रम किए जाएंगे। स्वस्थ भोजन की उपलब्धता पर भी लोगों जागरूक किया जाएगा। वहीं स्ट्रोक दिवस को सभी लोगों को ‘लाल रिबन’ लगाकर मनाने के लिए कहा गया है।
इस संबंध में बिलासपुर के मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. अनिल श्रीवास्तव ने बतायाः“तम्बाकू, शराब व इस तरह के अन्य मादक पदार्थों को त्यागकर संयमित जीवन शैली, स्वस्थ आहार व योगा को दिनचर्या में शामिल करने पर हृदय रोगों से काफी हद तक छुटकारा पाया जा सकता है। इस दिशा में जन-जागरुकता के लिए जिले में लगातार प्रयास किए जा रहे हैं। वहीं जिले में 29 सितंबर को विश्व हृदय दिवस मनाया जाएगा। इस अवसर पर जिला मुख्यालय के साथ ही ब्लॉक मुख्यालयों में भी विभिन्न जागरुकता कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे। सभी पीएचसी, सीएचसी में लोगों की स्क्रीनिंग की जाएगी। वहीं जिला अस्पताल में ईसीजी की व्यवस्था भी रहेगी।”
हृदय रोग संबंधी जागरुकता के लिए ऐसे होंगे प्रयासः-
-शिविर में एनजीओ या निजी सेक्टर के हृदय रोग विशेषज्ञों को आमंत्रित किया जा सकता है।
-हृदय संबंधी रोग हेतु शिविर में निशुल्क डायग्नोस्टिक सुविधा अनिवार्य होगी। इसमें उच्च रक्तचाप, रक्त शर्करा, बीएमआई, सिरम कोलेस्ट्राल, एचडीएल, व्हीएलडीएल व पोर्टेबल ईसीजी की सुविधा दी जाएगी।
-प्रख्यात हृदय रोग विशेषज्ञ द्वारा सार्वजनिक व्याख्यान, सार्वजनिक वार्ता परामर्श
-सूचना संचार गतिविधि रेडियो जिंगल, टीवी / दूरदर्शन में विडियो क्लिपिंग प्रदर्शन / रेडियो स्पॉट प्रदर्शन ।
-हृदय रोग संबंधी सेमिनार का आयोजन ।
– स्कूल में हृदय संबंधी प्रतिस्पर्धा आयोजन एवं जंक फूड से होने वाले दुष्प्रभाव पर जागरुकता लाना
– हृदय रोगियों हेतु विशेष योग शिविर का आयोजन ।